सकारात्मक सोच से जीत ली जिन्दगी की जंग
जिन्दगी में खुशी और गम समय के साथ आते और जाते है। इस सफर में जरूरत होती है तो सिर्फ सही सोच के साथ चीजों को समझने की। आज भी याद है मुझे वो दिन 10 जून 2014 का जब मुझे पता चला मुझे जीभ का कैंसर है। यह सुनते ही एक पल के लिए मेरी आंखों के सामने अंधेरा छा गया, लेकिन दूसरे ही पल ख्याल आया कि भगवान मुसीबतें भी उसी के सामने लाता है जो उनसे उभरे की हिम्मत रखते हैं।
मेरा एक बेटा है जो नेवल ऑफिसर और पति का देहांत हो चुका है। ऐसे में जब मुझे कैंसर के बारे में पता चला उस समय मैं और मेरी गर्भवती बहु हम दो ही साथ थे। कैंसर का पता चलते ही मुझे जल्द ही अपने उपचार की शुरूआत करवानी थी, इसलिए मैंने बिल्कुल भी देरी नहीं की। इस स्थिति में भगवान ने भी मेरा पूरा साथ दिया जो मुझे उपचार के लिए सही हाथों में पहुंचाया। भगवान महावीर कैंसर हॉस्पिटल के डॉक्टर अनिल गुप्ता ने मेरी सर्जरी की और कैंसर को निकाला। सर्जरी के बाद भी मैं हॉस्पिटल में भर्ती रहीे और जिस तरह से डॉक्टर ने बताया उसके अनुसार उपचार करवाती रही। उपचार के दौरान 33 रेडिएशन थैरेपी हुई। अब मैं पूरी तरह से कैंसर मुक्त हूं। अब तीन माह में एक बार डॉक्टर के पास रूटीन चैकअप के लिए आती हूं। सही डॉक्टर का साथ और सकारात्मक सोच से मैंने कैंसर से जिन्दगी की जंग को जीत लिया है। आज मैं अपना बुटिक पहले की तरह की चला रही हूं। मुझे खुशी है कि मेरी लाइफ वैसी ही है जैसी कैंसर से पहले थी।
इंदु वर्मा, कैंसर सरवाइवर
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